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कानपुर। मेट्रो कॉरीडोर एक के तहत झकरकटी मेट्रो स्टेशन की छत की ढलाई का काम सोमवार को शुरू हो गया। झकरकटी मेट्रो स्टेशन पर रूफ़ स्लैब कास्टिंग का पूजा पाठ के बाद शुभारंभ हुआ। इस दौरान यूपीएमआरसीएल के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।
भूमिगत सेक्शन के निर्माण का कार्य नौ जून को प्रारंभ हुआ था। झकरकटी मेट्रो स्टेशन पर डायफ़्राम वॉल (डी-वॉल) के निर्माण के साथ इस सेक्शन पर निर्माण कार्य शुरू हुए थे। कम समय में रूफ़ स्लैब की कास्टिंग का काम शुरू करना बड़ी उपलब्धि माना जा रहा है। लगभग 3 किमी. लंबे सेक्शन में तीन भूमिगत स्टेशनों कानपुर सेंट्रल, झकरकट्टी और ट्रांसपोर्ट नगर का निर्माण होना है।
यूपीएमआरसी के प्रबंध निदेशक सुशील कुमार ने कहा कि हमने आईआईटी से मोतीझील के बीच 9 किमी. लंबे प्राथमिक सेक्शन का निर्माण कार्य निर्धारित समय-सीमा से पूर्व पूरा कर कीर्तिमान स्थापित किया था। हमारा लक्ष्य है कि आईआईटी से नौबस्ता तक लगभग 23 किमी. लंबे पूरे कॉरिडोर को भी समय से पूरा किया जाए। बताया कि कानपुर मेट्रो परियोजना के पहले कॉरिडोर के अंतर्गत कुल 7 किमी. लंबे भूमिगत सेक्शन का निर्माण दो भागों में किया जा रहा है। चुन्नीगंज से नयागंज के बीच बन रहे 4 किमी. लंबे भूमिगत सेक्शन का काम अग्रिम चरण में है और इस सेक्शन में स्टेशनों और टनल दोनों ही का निर्माण तेज गति से जारी है।
टॉप-डाउन प्रणाली से तैयार होंगे भूमिगत स्टेशन
कानपुर मेट्रो के भूमिगत मेट्रो स्टेशन टॉप-डाउन प्रणाली से तैयार होंगे। सभी निर्माण कार्य ऊपर से नीचे की ओर होंगे। रूफ़ स्लैब तैयार होने के बाद, कॉनकोर्स लेवल और फिर प्लेटफ़ॉर्म लेवल का निर्माण होगा। निर्माणाधीन स्टेशन पर चल रहे काम से ट्रैफ़िक कम से कम प्रभावित हो, इसलिए यह प्रणाली अपनाई जा रही है क्योंकि रोड लेवल से शुरू करते हुए पहले तल का निर्माण होने के बाद, सड़क पर लगी बैरिकेडिंग को कम कर दिया जाएगा। सड़क के नीचे स्टेशन का निर्माण कार्य चलता रहेगा और सड़क पर वाहनों की आवाजाही भी सुचारू रूप से जारी रहेगी।