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राजकीय आईटीआई पांडुनगर में बुधवार को लगा रोजगार मेला अव्यवस्था की भेंट चढ़ गया। लाइट नहीं रही तो मोबाइल की रोशनी का सहारा लेना पड़ा। इंटरव्यू तो किसी तरह लिए पर मोबाइल की रोशनी में।
कानपुर। राजकीय आईटीआई पांडुनगर में बुधवार को लगा रोजगार मेला अव्यवस्था की भेंट चढ़ गया। लाइट नहीं रही तो मोबाइल की रोशनी का सहारा लेना पड़ा। इंटरव्यू तो किसी तरह लिए वो भी मोबाइल की रोशनी में। कुर्सी नहीं मिली तो बेबस अभ्यर्थी खड़े होकर ही सवालों के जवाब देते रहे। ऐसे हालात देखकर कई अभ्यर्थी न सिर्फ निराश दिखे, बल्कि साक्षात्कार दिए बगैर ही लौट गए। 443 ने यहां पर हिस्सा लिया पर नौकरी सिर्फ 273 ही पा सके।
14 कंपनियों के लिए कौशल विकास कक्ष और उसके बगल वाले हॉल में स्टॉल लगाए गए थे। मजे की बात है कि आना सैकड़ों अभ्यर्थियों को था पर इंतजाम न के बराबर थे। एक गेट वाले हॉल में बिजली के लिए सिर्फ एलईडी बल्ब लगाया गया था। हॉल में दस जगह इंटरव्यू होने के कारण भीड़ थी। कहने को जॉब के लिए इंटरव्यू हो रहा था पर कंपनी वाले अभ्यर्थियों से क्या रहे हैं ये सुनाई तक नहीं दे रहा था। किसी तरह अभ्यर्थी सुन लेते थे तो उनका जवाब कंपनी वालों को सुनाई नहीं दे पा रहा था।
बैठने के लिए कुर्सी भी नही थी
बैठने के लिए कुर्सी न होने से आवेदकों ने खड़े-खड़े ही सारे सवालों के जवाब दिए। इसी दौरान अचानक बिजली गुल हो गई। पूरे हॉल में अंधेरा छा गया। कंपनी प्रतिनिधियों ने काफी देर इंतजार किया, जब लाइट नहीं आई तो उन्होंने अंधेरे में ही इंटरव्यू लेना शुरू कर दिया। एक घंटे तक मोबाइल की रोशनी में इंटरव्यू लेकर युवाओं को नौकरी के लिए चयनित किया। वहीं, शोर और अंधेरे को देखकर कई युवतियां बिना इंटरव्यू दिए ही वापस लौट गईं।
बायोडाटा पहले जमा कराया फिर लौटाया
मेले में कई कंपनियां वादा करने के बाद भी नहीं आईं, जबकि उनमें नौकरी करने के इच्छुक युवाओं की भीड़ रही। ऐसे में आईटीआई के अनुदेशक ने युवाओं का बायोडाटा जमा कर उन्हें वापस लौटा दिया। रोजगार मेला प्रभारी अरुण मिश्रा ने बताया कि मेले में 14 कंपनियां आठ से लेकर 14 हजार महीने तक की नौकरी लेकर आईं थीं। मेले में 273 युवाओं का चयन हुआ। राजकीय आईटीआई पांडुनगर में बुधवार को रोजगार मेले में मोबाइल की रोशनी में इंटरव्यू देते अभ्यर्थी।
सभार – हिंदुस्तान